उत्तर प्रदेशसीतापुर

क्या तहसील सिधौली के अन्तर्गत एसडीएम सिधौली व पुलिस के इशारे पर खुलेआम हो रहे अवैध खनन?

-ग्राम पंचायतों में सरकारी कार्यों पर मिट्टी पटाई के नाम पर कराए जा रहे लाखों के भुगतान।
किसी पटाई कार्य का खनन विभाग से नहीं है परमिशन -क्या? सिर्फ आम जनता ही खनन अधिनियम कानून के लिए है बाध्य।

सीतापुर राकेश पाण्डेय। जिले की तहसील सिधौली के अन्तर्गत शाम ढलते ही अवैध खनन का कारोबार सक्रिय हो जाता है।

थाना क्षेत्र कमलापुर के अन्तर्गत महानन्दपुरवा बसई डीह में स्थित सरांय नदी के तलहटी का विगत दिनों अवलोकन किया गया तो वहां का नजारा देखकर लगा कि इस क्षेत्र में कानून नाम की कोई चीज ही नहीं है। तथा प्रशासन या तो इस माफिया गिरोह के आगे पंगु बना बैठा है या फिर मिली भगत है।

प्रशासन अवैध खनन को रोकने के लम्बे चौड़े दावे कर रहा है, परन्तु हकीकत यह है कि अवैध खनन यहां पर धड़ल्ले से हो रहा है।मुख्यमंत्री के आदेश के बावजूद पड़ाव क्षेत्र में मिट्टी खनन का गोरखधंधा धड़ल्ले से चल रहा है। इसका उदाहरण कमलापुर क्षेत्र के कई गांवों में देखने को मिल रहा है।

प्रदेश की योगी सरकार से लोगों को उम्मीदें है कि क्षेत्र में जल्द अवैध कारोबार पर लगाम लगेगा। खनन माफिया पर पुलिस नकेल कसेगी,लेकिन इन दिनों लोगों के उम्मीदों पर पानी फिर गया है।अवैध कारोबार रुकने के बजाय बढ़ने लगा। खनन माफिया प्रशासन की आंखों में धूल झोंककर धड़ल्ले से मिट्टी खनन कर राजस्व को लाखों का क्षति पहुंचाने में लगे हैं। इतना ही नहीं ग्राम पंचायतों में सरकारी कार्यों को लेकर लाखों रुपए के मिट्टी पटाई के भुगतान किये जा रहे हैं। किसी भी मिट्टी पटाई कार्य का खनन विभाग द्वारा परमिशन नहीं कराया जाता।

इससे साफ साबित होता है कि खनन अधिनियम कानून के लिए सिर्फ आम जनता ही बाध्य है।क्षेत्र के बरईजलालपुर,सिकलनिया, महानन्दपुरवा,रेवरी,कमला पुर,सुरैचा,मास्टरबाग,आदि गांवों में अवैध खनन का कार्य तेजी से चल रहा है।

ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि इस गोरखधंधे में पुलिस प्रशासन सहभागी बने हुए हैं। वहीं अगर कोई व्यक्ति अपने निजी कार्य या मकान बनाने के लिए अपने खेत से मिट्टी निकाल रहा है तो पुलिस सख्त कदम उठा रही है,लेकिन खनन कारोबारियों के खिलाफ कार्रवाई करने में पुलिस के पसीने छूट जाते हैं।

क्या बोले जिम्मेदार

इस सम्बन्ध में खनन अधिकारी सीतापुर से मोबाइल पर बात करनी चाहिए तो उनका फोन नहीं उठा। फिर उप जिला अधिकारी सिधौली से बात की गई तो उन्होंने बताया कि जहां- जहां हो रहा है उसका नाम हमारे नंबर पर भेज दो हम दिखवाते हैं।

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