प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय सेक्टर -7 महाकुंभ मेले का उद्घाटन उप-मुख्यमंत्री बृजेश पाठक ने किया
‘श्रेष्ठ संस्कारों के आधार पर ही एक अच्छे समाज का निर्माण संभव है और ब्रह्माकुमारी बहनों ने आज समाज में श्रेष्ठ चरित्र निर्माण की अलख जगाने की मुहिम चला रखी है। जो विकृतियां मानव मन में प्रवेश कर चुकी हैं, उनको निकालना बहुत बड़ी चुनौती है, परंतु इन शक्ति स्वरूपा बहनों पर मुझे पूरा विश्वास है कि ये भारतवर्ष को पुनः स्वर्णिम भारत बनाकर रहेंगी जो कि इस पंडाल का थीम भी है”
उपरोक्त बातें प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने कुंभ मेला क्षेत्र के सेक्टर 7 में स्थित ब्रह्माकुमारीज के पंडाल “स्वर्णिम भारत ज्ञान कुंभ” के उद्घाटन के अवसर पर कहीं।
उप मुख्यमंत्री ने पंडाल का निरीक्षण किया जिसमें चैतन्य देवियों की झांकी, लेजर शो, कलयुगी भयानक जंगल से सतयुगी स्वर्ग की ओर थीम पर आधारित विशाल झांकी तथा आध्यात्मिक ज्ञान प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया। ब्रह्मा कुमारीज के सदस्यों ने विशिष्ट अतिथियों सहित उपमुख्यमंत्री को माइंड स्पा का भी अनुभव करवाया।
इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री ने कहा इस पंडाल में आकर करोड़ों श्रद्धालु अपने जीवन के लक्ष्य को समझ पाएंगे तथा विज्ञान और अध्यात्म के संगम को इस संगम भूमि पर साक्षात अनुभव करेंगे। उन्होंने सभी उपस्थित वरिष्ठ ब्रह्माकुमारी बहनों का साधुवाद किया तथा ब्रह्माकुमार अरुण को इस भव्य पंडाल के निर्माण के लिए उनकी सराहना की।
विशिष्ट अतिथि के तौर पर उपस्थित पूर्व शिक्षा मंत्री श्री नरेंद्र कुमार गौर ने अपने विचार रखते हुए कहा कि वर्तमान समय में व्यक्ति निर्माण की कोई फैक्ट्री है तो प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय है । आज समाज में हर कोई अधिकार लेना चाहता है लेकिन कर्तव्य निष्ठा की कमी लगभग हर जगह दिखाई देती है। ब्रह्माकुमारीज की शिक्षाएं मनुष्य को कर्तव्यनिष्ठ और चरित्रवान बनाती हैं ऐसा मेरा व्यक्तिगत अनुभव है। उन्होंने प्रशासन को भी ब्रह्माकुमारी की शिक्षाओं से लाभ लेने को कहा।
पूर्व सांसद श्रीमती केसरी देवी पटेल ने सभी को साधुवाद देते हुए कहा की ब्रह्माकुमारीज मुझे अपने परिवार जैसा अनुभव होता है और मेरा सारा परिवार यहां की शिक्षाओं से लाभ लेता रहा है।
भारत एक्सप्रेस न्यूज़ नेटवर्क के एडिटर इन चीफ श्री उपेंद्र राय ने कहा सनातन धर्म वह धर्म है जो संसार में सहिष्णुता का स्त्रोत है। संसार के लगभग हर धर्म को मानने वाले लोग भारत भूमि पर निःसंकोच अपनी धार्मिक स्वतंत्रता के साथ रहते हैं। यह त्रिवेणी संगम भी इस बात का प्रतीक है, जहां गंगा यमुना और अदृश्य सरस्वती आकर आपस में मिलकर एक हो जाती हैं।
इस अवसर पर ब्रह्मा कुमारीज के युवा प्रभाग की उपाध्यक्ष बीके चंद्रिका दीदी ने युवाओं को ब्रह्मा कुमारीज के स्वर्णिम भारत ज्ञान कुंभ में आकर अपने जीवन को सार्थक बनाने का आवाहन किया। महाराष्ट्र के उल्हासनगर से पधारी ब्रह्मकुमारी सोम दीदी ने कलयुगी जंगल से स्वर्णिम भारत की ओर थीम पर आधारित आध्यात्मिक प्रदर्शनी के बारे में बताया तथा ब्रह्मा कुमारीज की क्षेत्रीय संयोजकता में मनोरमा दीदी ने सभी का आभार व्यक्त किया और मेले में आकर पुण्य सलिला मां गंगा के साथ उनके किनारे पर स्थित इस ज्ञान कुंभ में भी स्नान करने के लिए आवाहन किया। मंच संचालन लखनऊ से पधारी राधा दीदी ने किया।
इस अवसर पर ब्रह्मा कुमारीज के अंतरराष्ट्रीय हेड क्वार्टर माउंट आबू, राजस्थान से पधारे कोमल भाई, कानपुर से प्रकाश भाई , प्रयागराज में एनसीसी कोऑर्डिनेटर कर्नल अरविंद झा सहित तमाम जनमानस उपस्थित रहा।