उत्तराखण्ड

ह्यूमन ट्रैफिकिंग रोकने के लिए गुमशुदाओं की तलाश ज़रूरी – अमित सिन्हा IPS

आशीष तिवारी , बालजी दैनिक

देहरादून , 27 सितंबर , राष्ट्रीय महिला आयोग व उत्तराखण्ड पुलिस द्वारा Awareness & Capacity Building on Anti Human Trafficking पर पुलिस लाईन देहरादून में एक कार्यशाला आयोजित करायी गयी। इस कार्यशाला का उद्देश्य सभी Stakeholders को Human Trafficking जैसे संगठित अपराध के सम्बन्ध में और अधिक जागरूक करना तथा अपराध की रोकथाम हेतु सभी Stakeholders में Capacity Building को बढ़ाना था। पी0 रेणुका देवी, पुलिस उप महानिरीक्षक, अपराध एवं कानून व्यवस्था, उत्तराखण्ड द्वारा सभी अतिथियों का स्वागत किया गया।

कुसुम कंडवाल, अध्यक्षा, राज्य महिला आयोग द्वारा कार्यशाला को सम्बोधित करते हुए अवगत कराया गया कि बेटियों की सुरक्षा बहुत महत्वपूर्ण है। हमें गांव में जाकर कार्यशाला आयोजित कर सभी को इस अपराध के बारे में जागरूक करना चाहिए।अमित सिन्हा, अपर पुलिस महानिदेशक, प्रशासन, उत्तराखण्ड द्वारा बताया गया कि ह्यूमन ट्रैफिकिंग की प्रभावी रोकथाम हेतु गुमशुदा व्यक्तियों विशेषकर महिलाओं व बच्चों की गुमशुदगी की सूचना प्राप्त होने पर तत्काल कार्यवाही करते हुए गुमशुदाओं को तलाश किये जाने का प्रयास किया जाना चाहिए। पुलिस को आधुनिकतम तकनीक का उपयोग कर गुमशुदाओं को तलाश किये जाने के हरसम्भव प्रयास किये जाने चाहिए।

मीनाक्षी नेगी, सदस्य सचिव, राष्ट्रीय महिला आयोग द्वारा इस कार्यशाला को आयोजित कराने में उत्तराखण्ड पुलिस द्वारा किये गये सहयोग हेतु धन्यावाद दिया गया तथा बताया गया कि ह्यूमन ट्रैफिकिंग को रोकने हेतु उसके मूल कारण को जानने की आवश्यकता है। प्रत्येक राज्य व क्षेत्र में ह्यूमन ट्रैफिकिंग के अलग-अलग कारण होते हैं। ह्यूमन ट्रैफिकिंग मुख्यतः यौन शोषण, घरेलू दासता, मानव अंगों के प्रत्यारोपण, बलात् श्रम, सेरोगेसी आदि कारणों हेतु की जाती है। इस अपराध की रोकथाम हेतु सभी विभागों को आपसी समन्वय स्थापित कर कार्य करने की आवश्यकता है। मीनाक्षी नेगी द्वारा लिंग संवेदीकरण (gender sensitization) पर विस्तृत रूप से व्याख्यान दिया गया।

कमल पंत, EX.DG SDRF, Civil Defence and Fire Force Karnataka द्वारा ह्यूमन ट्रैफिकिंग विषय पर विस्तृत रूप से व्याख्यान दिया गया।मोहम्मद समून, कार्यक्रम अधिकारी, एम0एस0एस0 सेवा ऑगेनाईजेशन द्वारा क्रॉस बार्डर ट्रैफिकिंग व रेस्क्यू एवं पुनर्वास में एन0जी0ओ0 की भूमिका पर व्याख्यान दिया गया।कार्यशाला में विशेष अतिथि के रूप में कुसुम कंडवाल, अध्यक्षा, राज्य महिला आयोग, मीनाक्षी नेगी, सदस्य सचिव, राष्ट्रीय महिला आयोग, अमित सिन्हा, अपर पुलिस महानिदेशक, प्रशासन, उत्तराखण्ड, नीलेश आनन्द भरणे, पुलिस महानिरीक्षक, अपराध एवं कानून व्यवस्था, उत्तराखण्ड, के0एस0 नागन्याल, पुलिस महानिरीक्षक गढवाल परिक्षेत्र, पी0रेणुका देवी, पुलिस उपमहानिरीक्षक अपराध एवं कानून व्यवस्था, उत्तराखण्ड सहित वरिष्ठ/पुलिस अधीक्षक, देहरादून, टिहरी, पौड़ी गढ़वाल. उत्तरकाशी, जीआरपी, एण्टी ह्यूमन ट्रैफिकिंग यूनिट के नोडल अधिकारी, आई0टी0बी0पी0, बाल कल्याण समिति, महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास विभाग, महिला कल्याण विभाग, श्रम विभाग, एन0जी0ओ0, राजकीय रेलवे पुलिस व पुलिस के अन्य अधिकारियों सहित लगभग 200 प्रतिभागियों द्वारा प्रतिभाग किया गया।

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